आउटसोर्स कर्मचारी संयुक्त मोर्चा ने मुख्यमंत्री के नाम विभिन्न मांगों को लेकर आगर कलेक्ट्रेट में सौंपा ज्ञापन Outsourced Employees United Front submitted a memorandum to the Chief Minister in Agar Collectorate regarding various demands.

आउटसोर्स कर्मचारी संयुक्त मोर्चा ने मुख्यमंत्री के नाम विभिन्न मांगों को लेकर आगर कलेक्ट्रेट में सौंपा ज्ञापन Outsourced Employees United Front submitted a memorandum to the Chief Minister in Agar Collectorate regarding various demands.

आउटसोर्स कर्मचारी संयुक्त मोर्चा ने मुख्यमंत्री के नाम विभिन्न मांगों को लेकर आगर कलेक्ट्रेट में सौंपा ज्ञापन 

आगर मालवा : मंगलवार दोपहर 1 बजे आउटसोर्स कर्मचारी संयुक्त मोर्चा ने आगर कलेक्ट्रेट पहुंचकर अपनी विभिन्न मांगों को लेकर मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन डिप्टी कलेक्टर मनीष कौल को सौंपा। ज्ञापन में बताया गया कि आउटसोर्स कर्मचारियों को न्यूनतम वेतन का भुगतान 1 1 अप्रैल 2024 से लागू पुनरिक्षित न्यूनतम वेतन की वैधानिक रुकावटें 3 दिसंबर 2024 को माननीय उच्च न्यायालय ने दूर करते हुए 8 महीने से लाख लगा रेस्ट हटा दिया न्यूनतम वेतन निर्धारण 4 मार्च 2024 को मध्य प्रदेश राज्य पत्रों में प्रकाशनेक जरिए हुआ था।  



आउटसोर्स, अस्थाई, ठेका कर्मियों को न्यूनतम वेतन का भुगतान 1 अप्रैल 2024 से एरियर सहित कराया जाना चाहिए। माननीय न्यायालय से स्टे हटाए जाने को 1 महीने से अधिक हो चुका है, लेकिन अब तक शासन एवं श्रम विभाग की ओर से बढ़ी हुई दरों पर न्यूनतम वेतन का एरियर सहित भुगतान के लिए आदेश नहीं निकला है, जिससे प्रदेश के लाखों श्रमिक कर्मचारियों में नाराजगी बढ़ रही है और वे शासन की मंशा पर तरह-तरह के सवाल उठा रहे हैं। आपसे आग्रह है कि 10 साल बाद श्रमिक कर्मचारियों को पुनरीक्षित न्यूनतम वेतन मिला है, जिसे तत्काल दिलाए जाने के लिए उचित दिशा निर्देश जारी किए जाएं, जिससे बढ़ती महंगाई में इन कर्मचारियों को थोड़ी बहुत राहत मिल सके।



आउटसोर्स कंपनियां कर्मचारियों के साथ लगातार अन्याय करती आ रही हैं, अस्पतालों एवं मेडीकल कालेजों में स्थित ज्यादा खराब है, जहां समय पर वेतन नहीं मिलने, सरकार द्वारा तय न्यूनतम वेतन, बोनस, पीएफ एवं ईएसआई जैसी सुविधाओं से वंचित रखना आम बात है। प्रदेश में कार्यरत आउटसोर्स, अस्थाई कर्मचारियों को श्रम कानूनों का लाभ तक नहीं मिलता है सेवाएं ली जाती हैं, उन्हें 3 वर्ष से अधिक हो जाने के बाद एक श्रेणी अधिक में प्रमोट किया जाना चाहिए। लेकिन श्रेणी प्रमोशन कर वेतन वृद्धि की कार्रवाई किसी भी विभाग में नहीं होती है, इस तरह कार्यरत आउटसोर्स, अस्थाई कर्मचारियों को श्रम कानूनों के अनुसार जो हित लाभ मिलना चाहिए, उनसे वे वंचित है। श्रेणी प्रमोशन की प्रक्रिया तत्काल शुरू कराई जाए।


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